Published 2025-05-07
How to Cite
Abstract
शिक्षा किसी भी सभ्य समाज या राष्ट्र के विकास की प्रमुख सूचक होती है। देश की दृढ़ता और जीवन शक्ति उसके शिक्षित कर्णधारों पर टिकी होती है। प्राथमिक शिक्षा इस शिक्षा-व्यवस्था की सबसे महत्वपूर्ण कड़ी और नींव सदृश मजबूती की प्रथम सीढ़ी है। हमारे देश के प्रथम प्रधानमंत्री पं. जवाहर लाल नेहरू के शब्दों में– “मैं देश के हर बच्चे की आँखों में आने वाले हिंदुस्तान की तस्वीर देखता हूँ।” अर्थात बच्चे हमारे परिवार की धरोहर ही नहीं बल्कि देश के कर्णधार और भविष्य-निर्माता भी होते हैं। अतः देश की सरकार और प्रत्येक नागरिक का यह पावन कर्तव्य बनता है कि वह अपने नव-निहालों को उत्तम से उत्तम शिक्षा मुहैया कराए। वर्तमान में सर्व शिक्षा अभियान (Education for All) और मध्याह्न भोजन योजना जैसे अनेक कार्यक्रम सार्वभौमिक प्राथमिक शिक्षा की दिशा में निस्संदेह महत्वपूर्ण कदम हैं।